May 14, 2025

Delhi Earthquake: 54 मिनट के अंदर भूकंप से कांपी नेपाल, उत्तराखंड और दिल्ली की धरती

Published on

spot_img

Delhi Earthquake Hindi: मंगलवार दोपहर को नेपाल में महज एक घंटे के अंतराल में चार भूकंप आए, जिसके उत्तर भारत के कई हिस्सों में भी तेज झटके महसूस किए गए। एक दिन बाद, सिक्किम में दक्षिण ल्होनक झील के फटने से तीस्ता नदी बेसिन में अचानक बाढ़ आ गई, जिससे कई लोगों की मौत हो गई। अब वैज्ञानिक इस बात की जांच कर रहे हैं कि क्या एक दिन पहले आए भूकंप का सिक्किम में अचानक आई बाढ़ से कोई संबंध हो सकता है। आइए इस लेख के माध्यम से विस्तार से जानते है।

Delhi Earthquake: मुख्य बिंदू

  • नेपाल में आए भूकंप के 1 घंटे के अंदर ही भारत में 4 बार बड़े झटके महसूस हुए। जिसमें उत्तराखंड, और राजधानी दिल्ली, लखनऊ सहित कई जगह कांपी धरती। 
  • भूकंप के चारों झटकों का केंद्र धरती के 5 किलोमीटर अन्दर बताया जा रहा है। जिनकी तीव्रता 4.6, 6.2, 3.6 और 3.1 बताई जा रही है
  • भूकंप के इतिहास के अनुसार IV जोन में उत्तर प्रदेश के उत्तरी हिस्से, बिहार और पश्चिम बंगाल, जम्मू और कश्मीर के अन्य हिस्से, लद्दाख और केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली, सिक्किम, गुजरात, राजस्थान, आदि शामिल है।
  • सतभक्ति से हो रही है प्रकृति आपदाओं वा रोगों से मुक्ति, वर्तमान में पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब जी के अवतार इस पावन भूमि पर विराजमान हैं।

दिल्ली-NCR समेत उत्तर भारत के कई राज्यों में लगे बड़े झटके

नेपाल के बाद भारत की राजधानी दिल्ली में भी भूकंप (Delhi Earthquake) के झटके महसूस किए गए। भूकंप के झटके इतने तेज थे कि लोग घरों से बाहर निकलकर मैदान और सड़कों में आ गए। भूकंप का केंद्र नेपाल में होने की वजह से उत्तर भारत में कई बड़े शहरों में भूकंप के बड़े झटके महसूस हुए। दिल्ली, उत्तराखंड, लखनऊ, और पंजाब सहित कई जगह खौफ बना रहा। नेपाल में काफ़ी इमारते वा दीवारे गिरे। वहीं आधे घंटे के अंदर ही 2 बार भूकंप आया।

■ यह भी पढ़ें: Earthquake in Lucknow: उत्तर प्रदेश के कई जिलों में शुक्रवार रात को आया भूकंप

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में बड़े झटकों से खौफ में लोग

लखनऊ, उत्तर प्रदेश में ऑफिस में बैठे लोगों ने बताया कि 2:50 मिनट में पहला झटका लगा। लेकिन उनको अनसुना कर दिया गया। जब दूसरा झटका लगा तब कंप्यूटर, लेटपटॉप सभी हिलने लग गए तब सभी सड़को और मैदानों में निकल गए। भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 5.8 आंकी गई। 

भूकंप IV जोन क्या है?

भूकंप के इतिहास के अनुसार स्थानों को 4 भागों में बांटा गया है। जोन V, जोन IV, जोन III, और जोन II। सबसे ज्यादा भूकंप आने की संभावना V जोन रहती है। उसके बाद IV जोन में अधिक खतरा रहता है जिसमें उत्तर प्रदेश के उत्तरी हिस्से, बिहार और पश्चिम बंगाल, जम्मू और कश्मीर के अन्य हिस्से, लद्दाख और केंद्र शासित प्रदेश दिल्ली, सिक्किम, गुजरात, राजस्थान, पश्चिम तट के कुछ हिस्से, और महाराष्ट्र के छोटे छोटे हिस्से शामिल है।

क्या थी भूकंप Delhi Earthquake की तीव्रता और समय?

नेपाल में 1 घंटे के अंदर 4 बार धरती कांपी। पहले झटके की तीव्रता 4.6 रही जो 2 बजकर 25 मिनट पर आया। दूसरा तीव्रता 6.2 2 बजकर 51 मिनट पर तीसरा तीव्रता 3.6 3 बजकर 6 मिनट पर चौथा तीव्रता 3.1 3 बजकर 19 मिनट पर आया। भूकंप के केंद्र के विषय में बताया जा रहा है कि यह बहुत ही कम गहराई में था, जो कि सी लेवल से लगभग 5 किलोमीटर गहरा होगा। 

क्या नेपाल के भूकंप से आई सिक्किम में बाढ़?

पीटीआई की एक रिपोर्ट के मुताबिक, सिक्किम में झील पहले से ही असुरक्षित थी और 168 हेक्टेयर क्षेत्र को कवर करती थी। केंद्रीय जल आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पीटीआई-भाषा को बताया कि इसका क्षेत्रफल अब घटकर 60 हेक्टेयर रह गया है, जो दर्शाता है कि लगभग 100 हेक्टेयर पानी की मात्रा स्तर से ऊपर पहुंच गई है। रिपोर्टों के अनुसार, लोनाक झील के ऊपर बादल फटने से चीन की सीमा के पास गंगटोक से लगभग 150 किमी (93 मील) उत्तर में स्थित घाटी में मूसलाधार बाढ़ आ गई। हालाकि इसकी विस्तार पूर्वक जांच की जा रही है कि यह हादसा भूकंप की वजह से हुआ या किसी अन्य कारण से।

आखिर कौन है प्राकृतिक आपदाओं से बचाने वाला जीवन दाता? 

वेदों में प्रमाण मिलता है की पूर्ण परमात्मा कविर्देव (कबीर साहेब जी) साधक की आयु बढ़ा देता है। साधक को कोई भी रोग हो उसे नस्ट कर जीवन दान देता है। प्रमाण के लिए ऋग्वेद मण्डल 10 सुक्त 161 मंत्र 2, 5, सुक्त 162 मंत्र 5, सुक्त 163 मंत्र 1 – 3 को पढ़िए। इससे यह सिद्ध होता है कि जो साधक पूर्ण गुरु की शरण ग्रहण कर सतभक्ति करेगा उसके जीवन में ये आपदाएं नहीं आएंगी। उसके लिए पूर्ण गुरु का होना अति आवश्यक है। ऐसे पूर्ण गुरु पूरे विश्व में एकमेव जगतगुरू तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी ही है, जिन्होंने इस पावन भूमि पर मानव कल्याण के लिए अवतरण किया है। जो कि स्वयं पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब जी के नुमायंदे हैं। इसके अलावा कोई भी पूर्ण गुरु इस धरती पर नहीं है जो शास्त्रानुकूल भक्ति विधि बताएं। 

जिससे हमारी आने वाली आपदा टले, हमारा शरीर रोग मुक्त हो और हमारी आत्मा सतभक्ति करके अमरलोक जा सके। जहां जाने के बाद सुख ही सुख होगा। तो आप भी देर ना करते हुए सत ज्ञान को समझकर जल्दी से जल्दी संत रामपाल जी महाराज जी से नाम दीक्षा लेकर अपना और अपने परिवार का कल्याण करवाएं। अधिक जानकारी के गूगल प्लेस्टोर से आज ही डाउनलोड करें “संत रामपाज जी महाराज” एंड्रॉयड एप्लीकेशन।

Delhi Earthquake: FAQs

Q.1 भूकंप का केंद्र कहां रहा?

Ans. भूकंप का केंद्र नेपाल रहा है, साथ ही उत्तर भारत में भी भूकंप के बड़े झटके लगे।

Q.2 भूकंप का IV जोन क्या है?

Ans. भूकंप के इतिहास में 4 भागो में जोन को बांटा गया है। जोन V के बाद सबसे ज्यादा खतरा इस जोन IV में होता है  इसमें जम्मू-कश्मीर UP, गुजरात, राजस्थान, महाराष्ट्र दिल्ली आदि कुछ राज्य शामिल है।

Q.3 भूकंप की तीव्रता कितनी थी?

Ans. नेपाल में भूकंप के पहले झटके की तीव्रता 4.6 रही जो 2 बजकर 25 मिनट पर महसूस किया गया था। दूसरे झटके की तीव्रता 6.2 रही जो कि 2 बजकर 51 मिनट पर आंका गया था। वहीं तीसरे की तीव्रता 3.6 मापी गई जो कि 3 बजकर 6 मिनट पर देखा गया था। चौथे झटके की तीव्रता 3.1 रही जो 3 बजकर 19 मिनट पर महसूस किया गया था।

Q.4 वर्तमान में पूर्ण परमात्मा किस रूप में आए हुए है

Ans पूर्ण परमात्मा कबीर साहेब जी जगतगुरू तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज के रूप में विराजमान हैं ।

भूकंप कब और कहाँ हुआ?

भूकंप 3 अक्टूबर, 2023 को दोपहर 2:51 बजे नेपाल में रिक्टर पैमाने पर 6.2 तीव्रता का आया। भूकंप का केंद्र उत्तराखंड के जोशीमठ से 206 किमी दक्षिण पूर्व और उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से 284 किमी उत्तर में स्थित था।

भूकंप से क्या नुकसान हुआ?

अभी तक किसी भी नुकसान की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। हालांकि, कुछ लोगों ने बताया कि उनके घरों में दरारें आ गई हैं।

भूकंप का क्या कारण था?

भूकंप दो टेक्टॉनिक प्लेटों के बीच टकराव के कारण आया। भारतीय प्लेट हिमालय के नीचे तिब्बती प्लेट के नीचे खिसक रही है। इस गति के कारण समय-समय पर भूकंप आते हैं।

क्या भविष्य में और भूकंप आ सकते हैं?

हां, भविष्य में और भूकंप आ सकते हैं। भारत एक भूकंपीय रूप से सक्रिय क्षेत्र है।

निम्नलिखित सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म पर हमारे साथ जुड़िए

WhatsApp ChannelFollow
Telegram Follow
YoutubeSubscribe
Google NewsFollow

Latest articles

World Hypertension Day 2025: Discover the Spiritual Path to a Healthy Heart

Last Updated on 12 May 2025 IST | World Hypertension Day 2025 | Hypertension...

International Day of Family 2025: Nurture Your Family with Supreme God’s Blessings 

Last Updated on 12 May 2025 IST | International Day of Families is an...

Buddha Purnima (Vesak Day) 2025: Know the Reason Why Buddha Couldn’t Attain God!

Last Updated on 12 May 2025 IST | Buddha Purnima 2025: Buddha Purnima, also...
spot_img

More like this

World Hypertension Day 2025: Discover the Spiritual Path to a Healthy Heart

Last Updated on 12 May 2025 IST | World Hypertension Day 2025 | Hypertension...

International Day of Family 2025: Nurture Your Family with Supreme God’s Blessings 

Last Updated on 12 May 2025 IST | International Day of Families is an...

बुद्ध पूर्णिमा (Buddha Purnima) 2025: क्या था महात्मा बुद्ध के गृहत्याग का कारण?

Last Updated on 12 May 2025 IST | बुद्ध पूर्णिमा (Buddha Purnima in Hindi)...