वर्तमान समय में मानव समाज में दहेज व अपव्य्यता की होड़ देखने को मिलती है, तो वहीं दूसरी ओर सन्त रामपाल जी महाराज जी के अनुयायी बेहद ही साधारण तरीके से सादगी पूर्ण दहेज मुक्त बिना किसी जातीय बंधन के अंतर्जातीय विवाह जिसे सन्त भाषा में रमैनी/रमैणी कहते हैं, सम्पन्न करते हैं। सन्त रामपाल जी महाराज जी के सानिध्य में सन्त रामपाल जी महाराज जी के अनुयायियों द्वारा किये जा रहे इन दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाहों (रमैनी) से आज की तथा भावी युवा पीढ़ी में एक अति उत्तम सन्देश प्रसारित हो रहा है।
मुख्य बिंदु
- पूर्णतः सादगीपूर्ण सम्पन्न होते हैं ये अनुपम दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाह(रमैनी)
- आडम्बरों के बन्धनों से मानव समाज हो रहा है आजाद
- दहेज नामक कुप्रथा है अपने अंत की ओर अग्रसर
- अब विवाहों के नाम पर अपव्य्यता होगी खत्म
- वैश्विक महामारी Covid-19 के प्रोटोकॉल को ध्यान में रखते हुए सम्पन्न हुए दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाह(रमैनी)
- सन्त रामपाल जी महाराज जी का ज्ञान है चक्रवर्ती ज्ञान
प्रिय पाठकों को अवगत कराते हैं इन दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाहों (रमैनी) से
- सन्त रामपाल जी महाराज जी के ज्ञान से प्रेरित होकर बानसूर निवासी सन्त रामपाल जी महाराज जी के अनुयायी वर कैलास चन्द्र जाट पुत्र छितर मल जाट ने सन्त रामपाल जी महाराज जी की अनुयायी वधु पूनम बाला पुत्री ताराचंद कोली निवासी राजगढ़ के साथ दहेज़ मुक्त अंतरजातीय विवाह (रमैनी) सम्पन्न किया तथा समाज से रूबरू होते हुए कहा कि “सन्त रामपाल जी महाराज जी” के अद्वितीय ज्ञान से वर्तमान समाज में एक नई चेतना प्रसारित हो रही है। सन्त रामपाल जी महाराज जी के सानिध्य में लोग दहेज, नशाखोरी को त्यागकर सभ्य समाज का निर्माण कर रहे हैं।
- दिनांक 21-03-2021 को राजस्थान के सवाईमाधोपुर जिले की गंगापुर सिटी में संत रामपाल जी महाराज जी के सानिध्य में दहेज मुक्त विवाह (रमैनी) सम्पन्न हुआ। दहेज मुक्त विवाह (रमैनी) के बाद नव विवाहित वधु प्रियंका खटाना ने बताया कि देश से कन्या भ्रूण हत्या को समाप्त करने के लिए लोगों को सन्त रामपाल जी महाराज जी द्वारा बताई गई विधि के अनुसार ही अपने लड़का-लड़की की शादी करनी चाहिए। सन्त रामपाल जी महाराज जी का मिशन सम्पूर्ण विश्व को एक सूत्र में बांधकर दहेज मुक्त बनाना है।
- दिनाँक 24-03-2021 को सन्त रामपाल जी महाराज की अद्वितीय कल्याणकारी विचारधारा से प्रभावित होकर सन्त रामपाल जी महाराज जी के अनुयायी गणेशमान चारनाथ नगरपालिका वार्ड क्रमांक 4, जिला-धनुषा, प्रदेश क्रमांक -2 (नेपाल) निवासी श्री लाल महतो जी ने अपने पुत्र लक्ष्मी कुमार महतो उम्र 20 वर्ष का पूर्णतः दहेज मुक्त विवाह सन्त रामपाल जी महाराज जी के अनुयायी बर्दीबास नगरपालिका वार्ड क्रमांक 9, जिला-महोत्तरी, प्रदेश क्रमांक -2 (नेपाल) निवासी विरेन्द्र महतो जी की सुपुत्री आरती कुमारी महतो के साथ सम्पन्न किया।
जिसने भी इन अनुपम दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाहों (रमैनी) को देखा उसने सराहा
इन दहेज मुक्त अंतर्जातीय विवाहों (रमैनी) में कई गणमान्य व्यक्ति, ग्रामीण तथा कबीरपंथी लोग उपस्थित थे। सभी लोगों ने इस तरह की विवाह रीति (पूर्णतः दहेज व आडम्बरों से मुक्त रीति) की खूब सराहना की तथा संत रामपाल जी महाराज जी का समाज सुधार में किये गए पुनीत कार्य के लिए तहेदिल से आभार व्यक्त किया।
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अंतर्जातीय विवाह कर वसुधैव कुटुम्बकम को चरितार्थ किया
सन्त रामपाल जी महाराज जी बताते हैं
जीव हमारी जाति है, मानव धर्म हमारा।
हिन्दू, मुस्लिम, सिक्ख, ईसाई, धर्म नहीं कोई न्यारा।।
सन्त रामपाल जी महाराज जी के द्वारा दी गयी इसी शिक्षा के फलतः आज इन अनुपम अंतर्जातीय पूर्णतः दहेज मुक्त विवाहों (रमैनी) के माध्यम से आज की युवा पीढ़ी जातिगत बेड़ियों को तोड़ते हुए अंतर्जातीय विवाहों (रमैनी) को प्राथमिकता दे रही है, जो कि एक अति उत्तम व सराहनीय कार्य है।
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