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World Cancer Day 2023: सतभक्ति रूपी अचूक दवा है, कैंसर जैसी लाईलाज बीमारी का इलाज

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Last Updated on 1 February 2023, 3:28 PM IST: विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day in Hindi): प्रत्येक वर्ष 4 फरवरी के दिन पूरी दुनिया में विश्व कैंसर दिवस मनाया जाता है, इस दिवस को मनाने का मुख्य उद्देश्य है इस लाईलाज बीमारी के प्रति लोगों में अधिक से अधिक जागरूकता लाना। आज हम आप को विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day 2023) पर बताएँगे कि कैसे आप कैंसर जैसी लाइलाज बीमारी से निजात पा सकते है। हम निम्नलिखित बिंदुओं पर आपको जानकारी देंगे।

World Cancer Day 2023 Information (Hindi)

कैंसर (Cancer) का नाम सुनकर लोगों के दिलों दिमाग में एक भयानक डर पैदा हो जाता है, निराशा और मायूसी छा जाती है और रूह कांप जाती है। जब भी किसी को कैंसर की बीमारी का पता चलता है तो उसे लगता है मानो उसका जीवन ही समाप्त हो गया हो। आखिर कैंसर के नाम पर लोगों को इतना डर क्यों लगता है? विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day 2023) पर आप को बताना चाहेंगे कि विश्व स्वास्थ्य संगठन की 2020 की एक रिपोर्ट के मुताबित पूरे विश्व में लगभग 2 करोड़ लोग कैंसर के रोग से जूझ रहे हैं तथा 2040 तक ये आंकड़ा 3 करोड़ तक पहुंच सकता है।

प्रतिवर्ष लगभग 10 लाख लोग कैंसर जैसी असाध्य बीमारी से मर जाते हैं। भगवान ने हमें इतना अच्छा शरीर प्रदान किया है, परंतु उसमें कैंसर जैसी भयावह बीमारी क्यों हो जाती है? तो आइए हम यह जानने का प्रयास करें कि कैंसर क्यों और कैसे होता है? इस लाइलाज बीमारी से कैसे बचा जा सकता है?

World Cancer Day 2023: विश्व कैंसर दिवस 2023 में कब है?

विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day) हर साल 4 फरवरी को लोगो को कैंसर के दुष्परिणामों से चेताने व लोगो को कैंसर के प्रति जागरूक (Awareness About The Dangers Of Cancer) करने के लिए मनाया जाता है। इस वर्ष भी वर्ल्ड कैंसर डे 2023 दिनांक (Date) 4 फरवरी (4th february) को मनाया जाएगा।

World Cancer Day 2023 (Hindi): जानिए कैंसर क्या है?

विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day 2023) पर जानें आखिर क्या होता है कैंसर? जब शरीर में कोशिकाएं असामान्य रूप से विभाजित होकर अनियंत्रित मात्रा में बढ़ने लगती है तथा अन्य ऊतकों पर आक्रमण करती हैं, जिसके बाद ये रक्त और लासिका के माध्यम से शरीर में फैल जाती है। इसी अवस्था को कैंसर कहते हैं। इसे ल्यूकेमिया (विषाणु) के नाम से जाना जाता है। कैंसर अर्थात कर्क रोग होने में जो समय लगता है उस समय को लैटेन्ट पीरियड कहा जाता है।

शरीर में कैंसर कैसे फैलता है?

विशेषज्ञों के अनुसार cancer का मुख्य कारण ट्यूमर है। अब आपको वर्ल्ड कैंसर डे पर बताएंगे कि शरीर में कैंसर कैसे फैलता है? हमारा शरीर विभिन्न कोशिकाओं से मिलकर बना होता है। शरीर में पुरानी कोशिकाएं क्षतिग्रस्त होकर मर जाती हैं इनके स्थान पर नई कोशिकाएं आ जाती है। स्वस्थ शरीर में कोशिकाओं का नियंत्रित विभाजन होता रहता है।

■ यह भी पढ़ें: National Cancer Awareness Day: जानिए कैसे होगा कैंसर का जड़ से खात्मा?

इस व्यवस्थित प्रक्रिया के बिगड़ जाने पर कोशिकाएं अनियंत्रित होकर बढ़ने लगती है। पुरानी कोशिकाएं नहीं मरती और नई कोशिकाएं पैदा होती रहती है जिनकी शरीर को जरूरत नहीं होती। तब ये शरीर के दूसरे हिस्सों को काम करने में बाधा पहुचाती हैं। परिणामस्वरूप कोशिकाएं ऊतक का रूप धारण कर लेती है, कैंसर से प्रभावित कोशिका को नियोप्लाज्मा या ट्यूमर कहा जाता है। यही ट्यूमर घातक होता है जो धीरे-धीरे पूरे शरीर में फैल जाता है, जो आगे चलकर कैंसर का कारण बनता है।

World Cancer Day 2023 in Hindi – कैंसर क्यों होता है?

आइये World Cancer Day 2023 (Hindi) पर अब जानते है कि आखिर कैंसर का कारण क्या है? विशेषज्ञों के अनुसार, आनुवांशिक कारणों से कैंसर केवल 5%-10% ही होता है। शोधकर्ताओं के अनुसार निम्न कारणों से कैंसर हो सकता है:

  • 70% से अधिक रोगियों के कैंसर होने का कारण उनकी खराब जीवन शैली है।
  • अधिकांश लोगों को मानसिक तनाव
  • शारीरिक व्यायाम की कमी
  • प्रदूषण
  • संक्रमण, विकिरण
  • पौष्टिक आहार की कमी
  • धूम्रपान, तंबाखू, गुटका एवं अन्य नशीले पदार्थों का सेवन और मोटापा इत्यादि के कारण
  • किसी अन्य बीमारी के लिए ली जाने वाली दवाई के दुष्परिणाम के कारण

World Cancer Day 2023 [Hindi]: कैंसर के लक्षण क्या हैं?

अब आप को वर्ल्ड कैंसर डे पर बताते हैं कि कैंसर के लक्षण क्या है? शोधकर्ता बताते है कि कैंसर होने के पहले बहुत से लक्षण प्रकट होते हैं, लेकिन हम उन्हे नजर अंदाज कर देते हैं। कुछ संभावित लक्षणों में:

  1. असामान्य रक्तस्राव
  2. आंतों में रुकावट
  3. भूख में कमी
  4. वजन में अत्यधिक कमी
  5. निमोनिया
  6. अत्यधिक थकान और आलस्य
  7. त्वचा में परिवर्तन
  8. किसी तरह की गांठ का अनियंत्रित बढ़ना
  9. लंबे समय गले में खराश का होना और लंबे समय तक खांसी इत्यादि हैं

इन लक्षणों के पता चलने पर भी रोगी सामान्य बीमारी समझकर इलाज कराता रहता है। इस कारण प्रारम्भिक अवस्था में कैंसर का न तो पता चलता है और न ही इलाज हो पाता है। देरी होने से यह बीमारी भयावह रूप धारण कर लेती है और उस अवस्था में इसका उपचार करना मुश्किल हो जाता है। रक्त जाँच, एक्स-रे, सी.टी. स्कैन, एण्डोस्कोपी तथा बायोप्सी प्रमुख चिकित्सीय परीक्षणों से कैंसर की जांच संभव हैं।

World Cancer Day 2023 Theme | विश्व कैंसर दिवस 2023 की थीम क्या है?

कैंसर अर्थात कर्क रोग के प्रति जागरूकता लाने और चिकित्सा अनुसंधान में तेजी लाने के लिए “यूनियन फॉर इंटरनेशनल कैंसर कंट्रोल” द्वारा स्विट्ज़रलैंड में 1993 में “विश्व कैंसर दिवस (World Cancer Day)” मनाने का निर्णय लिया गया। अब विश्व भर में प्रत्येक वर्ष 4 फरवरी को यह जागरूकता अभियान चलाया जाता है। इसके अतिरिक्त भारतवर्ष में 7 नवंबर को राष्ट्रीय स्तर पर “कैंसर जागरूकता दिवस” भी मनाया आता है। वैश्विक स्तर पर जागरूकता फैलाने के लिए कार्यरत संस्था यूनियन फॉर इंटरनेशनल कैंसर कंट्रोल (यूआईसीसी) द्वारा वर्ष 2023 में विश्व कैंसर दिवस की थीम “क्लोज द केयर गैप (Close The Care Gap)” रखी गई है इसका अर्थ है कि कर्क रोग अर्थात कैंसर से पीड़ित मरीजों की पहचान कर उनकी देखभाल में होने वाली बाधाओं को कम करना। UICC द्वारा दी थीम 3 वर्षो के लिए जारी कैम्पेन के तहत रखी रखी गयी है जो कि 2022, 2023 एवं 2024 तक चलेगी।

World Cancer Day 2023 Quotes in Hindi

  • शास्त्रों में इस बात का स्पष्ट उल्लेख है कि पूर्ण परमात्मा कविर्देव जी सत्यसाधना करने वाले साधक के असाध्य से भी असाध्य रोगों को तत्क्षण स्माप्त कर देते हैं- संत रामपाल जी महाराज
  • शास्त्रानुकूल साधना से ही रोग मुक्त व सुखमय जीवन सम्भव है – जगतगुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज
  • तम्बाकू से नाता तोड़ो, स्वस्थ जीवन से नाता जोड़ो
  • यह बीमारी नहीं महामारी है, कैंसर दुनिया पर भारी है।
  • सिगरेट का धुंआ तुझे राख कर रहा है, छोड़ इसे क्यों जिंदगी को खाक बना रहा है।

विज्ञान की क्षमता सीमित है, आध्यात्मिकता की क्षमता असीमित है

एक ओर जहां विज्ञान की सीमा समाप्त होती है और मानव असहाय महसूस करता है, वहीं आध्यात्मिकता में असीमित शक्ति है और हर समस्या का समाधान है। हमें सिर्फ इतना जानना जरूरी है कि हमने मनुष्य जीवन में जन्म लिया है तो हमारा क्या उद्देश्य है। इस जन्म में प्राप्त होने वाले सुख दुख पिछले जन्मों के प्रारब्ध के कारण से होते हैं।

■ Read in English: World Cancer Day: What is the best way to cure cancer?

संचित पाप पुण्य कर्मों के अनुसार मनुष्य कैंसर जैसी बीमारी से पीड़ित होता है। पूर्ण गुरु से उपदेश लेकर उनके नियम मर्यादा में रहकर भक्ति करने वाले साधक के घोर से भी घोर पाप कर्म नष्ट हो जाते हैं और उसे भगवान रोग मुक्त कर देते हैं।

तत्वदर्शी संत से सतभक्ति समझने और सतनाम दीक्षा लेने से पिछले कर्म काटे जा सकते हैं :-

कबीर, जबही सतनाम हृदय धरो, भयो पाप को नाश।

जैसे चिंगारी अग्नि की, पड़ी पुराने घास॥

वर्तमान में पाप नाश कराने वाले तत्वदर्शी संत कौन हैं?

तत्वदर्शी सन्त वह होता है जो वेदों के सांकेतिक शब्दों को पूर्ण विस्तार से वर्णन करता है जिससे पूर्ण परमात्मा की प्राप्ति होती है। वह वेद के जानने वाला कहा जाता है ।

सतगुरु के लक्षण कहु, मधुरे बैन विनोद।

चार वेद, छठ शास्त्र, कहे अठारह बोध।|

वर्तमान में जगतगुरु रामपाल जी महाराज जी ही एकमात्र पूर्ण तत्वदर्शी संत हैं जो सभी शास्त्रों से प्रमाणित ज्ञान देकर सत भक्ति साधना बताते हैं। आज लाखों लोग तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज जी के तत्वज्ञान को सुनकर, समझ कर उनके बताए अनुसार शास्त्र अनुकूल भक्ति साधना कर समस्त प्रकार के दुखों से छुटकारा पा रहे हैं तथा सुखमय जीवन जी रहे हैं।

World Cancer Day in Hindi: आइए जानते हैं कुछ भक्तों के अनुभव 

  • नाम – श्रीमती रूपाली पाटिल , निवासी पूना , महाराष्ट्र
  • रोग :- सरवाईकल कैंसर
  • इलाज :- पूना में

डाक्टरों की राय :- सरवाईकल कैंसर और टीबी और 2 अन्य बीमारियों का परीक्षण

संत रामपाल जी महाराज से सत भक्ति :- हम देवी देवताओं की भक्ति कर रहे थे। मेरे पति ने संत रामपाल जी महाराज से नाम दान लिया। उनके नियम मर्यादाएं पढ़कर मुझे अच्छा लगा। खासतौर पर मद्यपान निषेध वाले नियम ने मुझे बहुत प्रभावित किया। मेरे पति ने शराब पीना छोड़ दिया। मैंने भी सन 2004 में संत रामपाल जी महाराज से नाम दीक्षा ले ली। मुझे एक बार मेडिकल परीक्षण से पता चला कि मुझे सरवाईकल कैंसर और टीबी है। मैंने अंतरात्मा से गुरु जी से प्रार्थना लगाई कि मुझे जीवन दान दे दो। 

गुरुजी का संदेश आया कि आपको कुछ नहीं होगा। शाम को रिपोर्ट आई उसमे सिर्फ वाइरल बुखार निकला। चूंकि मेरे परिवार में कई लोगों को कैंसर हुआ था, मुझे आनुवांशिक कैंसर होने की प्रबल संभावना थी। दूसरा मेरी जन्म कुंडली में भी था कि 40 वर्ष की आयु में मुझे खतरनाक बीमारी होगी और मेरी आयु छोटी होगी। लेकिन संत रामपाल जी महाराज की शरण में आने के कारण सब कुछ छोटे में निपट गया।

सत भक्ति का परिणाम :- जो डॉक्टर पहले कैंसर होने की पक्की बात कर रहे थे, वही डॉक्टर सिर्फ वाइरल बुखार ही बता रहे हैं, यह संत रामपाल जी की भक्ति का कमाल।

  • नाम- श्रीमती रंजना कश्यप
  • जिला- मंडी,हिमाचल प्रदेश।
  • रोग :- कैंसर की गांठ
  • इलाज :- मंडी अस्पताल

डाक्टरों की राय:- 6 माह का जीवन शेष है, आजीवन दवा खाने की सलाह

संत रामपाल जी महाराज से सत भक्ति :- नाम उपदेश 3/6/2012। नाम उपदेश लेने से पहले सभी देवी देवताओं की भक्ति करते थे जैसे कि मंदिरों में जाते थे, और व्रत भी करते थे और बहुत दुखी भी थे उनकी भक्ति करते करते हुए भी और इन पूजाओं से हमें कोई लाभ नहीं मिला। मैं बहुत दुखी थी मेरे घर में सारे बच्चे बीमार रहते थे और पति बीमार रहता था। मैं खुद भी बीमार रहती थी बहुत ज्यादा। मेरे को कैंसर की गांठ थे। और मेरे को हॉस्पिटल में बताया था कि 6 महीने से ज्यादा नहीं जी पाएगी। और मेरे को लगातार दवाई खाने को दे दिए थे। दर्द की दवाई खाने के लिए दी। मेरे खून भी कम होता था उसकी भी दवाई खाने को दिए थे। साथ ही हिदायत दी दवाई लगातार खानी पड़ेगी आपको, जब तक जिंदा है।

जब मंडी हॉस्पिटल में मेरे को कैंसर बताया और मैं घर में आई, सब जोर जोर से रोने लगे और मैं रात को रोते रोते सो गई। रात को मेरे सपने में संत रामपाल जी महाराज जी आए और उन्होंने मेरे को कहा कि बेटा आप नाम उपदेश ले लो आप ठीक हो जाएंगे और मैं सुबह ही नाम उपदेश लेने के लिए तैयार हो गई। संत रामपाल जी महाराज जी से जुड़ने के लिया मैंने बरवाला आश्रम में नाम उपदेश लिया और गुरु जी से कहा कि कैंसर की गांठ बताई हुई है डॉक्टर ने, तो संत रामपाल जी महाराज जी मेरे को बोले कि बेटा आप भक्ति करो और मर्यादा में रहकर भक्ति करो आप ठीक हो जाएंगी। और मैं जब घर आई तो गुरु जी मेरे सपने में आए 4:00 बजे सुबह मैं सोई हुई थी तो गुरु जी ने एक ढक्कन चरणामृत पिलाया, और उसके बाद मेरे को उन गांठों में कभी दर्द नहीं हुआ। संत रामपाल जी महाराज कोई आम इंसान नहीं है वह परमात्मा हैं।

सतभक्ति का परिणाम :- सत भक्ति से, संत रामपाल जी महाराज जी के चरणामृत पीने मात्र से ही कैंसर जैसी बीमारी ठीक हो गई।

संत रामपाल जी से जल्द से जल्द ले नाम दीक्षा

कैंसर जैसी लाइलाज नाना बीमारियों से पीड़ित हजारों लोग हैं जो संत रामपाल जी महाराज जी से शास्त्र अनुकूल भक्ति साधना लेकर भक्ति करने से ठीक हो गए हैं। आप भी सतभक्ति और नामदान दीक्षा उपदेश लेकर पाप मुक्त होकर स्वस्थ सुखी जीवन जियें और अंतिम सांस तक सत भक्ति करके मोक्ष प्राप्त करें।

आध्यात्मिक जानकारी के लिए आप संत रामपाल जी महाराज जी के मंगलमय प्रवचन सुनिए साधना चैनल पर प्रतिदिन 7:30-8.30 बजे। संत रामपाल जी महाराज जी इस विश्व में एकमात्र पूर्ण संत हैं। आप सभी से विनम्र निवेदन है अविलंब संत रामपाल जी महाराज जी से नि:शुल्क नाम दीक्षा लें और अपना जीवन सफल बनाएं। अधिक जानकारी के लिए आप आज ही Sant Rampal Ji Maharaj App डाऊनलोड करें।

FAQ About World Cancer Day 2023 [Hindi]

Q. विश्व कैंसर दिवस किस कब (World Cancer Day Date) मनाया जाता है?

Ans. विश्व कैंसर दिवस प्रत्येक वर्ष 4 फरवरी के दिन मनाया जाता है।

Q. क्या कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी से पूर्ण छुटकारा सम्भव है?

Ans. हां जी, कैंसर जैसी सर्व असाध्य बीमारियों से पूर्ण छुटकारा सिर्फ पूर्ण संत रामपाल जी महाराज जी के द्वारा दी हुई सतभक्ति से ही सम्भव है।

Q. प्रतिवर्ष विश्व कैंसर दिवस मनाने का उद्देश्य क्या है?

Ans. लोगों में कैंसर के प्रति जागरूकता फैलाने के उद्देश्य से विश्व कैंसर दिवस मनाया जाता है।

Q. कैंसर दिवस कैसे मनाया जाता है?

Ans. सरकारी तथा गैर-सरकारी संगठनों में जागरूकता कार्यक्रम, रैली, भाषण, सेमिनार आदि के माध्यम से प्रतिवर्ष विश्व कैंसर दिवस मनाया जाता है।

Q. पहली बार विश्व कैंसर दिवस कब मनाया गया था?

Ans. साल 1993 में पहली बार कैंसर दिवस मनाया गया था।

Q. पहली बार विश्व कैंसर दिवस कहाँ पर मनाया गया था?

Ans. जिनेवा, स्विजरलैंड में।

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