आजकल इस फैशन के दौर में कोई बिना दहेज लिए अपने बेटे की शादी कर दे ये मुमकिन नही लेकिन कल जो बानसूर (राजस्थान) के मैरिज गार्डन में देखने को मिला वो इसके विपरीत था,राजगढ़ के गिरीराज सैनी में अपने बेटे कमल सैनी का विवाह बनवारी लाल सैनी जो एक छोटे से कस्बे में चाय की दुकान चलाते हैं उनकी बेटी खामोश के साथ करी ये विवाह मात्र 17 मिनट में गुरुवाणी से सम्पन्न हुआ और रही दहेज की बात तो 1 रुपये तक का दहेज उन्होंने नही लिया उन्होंने बताया कि हम संत रामपाल जी महाराज जी के शिष्य हैं जिन्होंने हमें ये सिखाया है कि ना हम दहेज लेंगे और ना ही देंगे हमें नाम दीक्षा देने से पहले संत रामपाल जी ने ये नियम बताए थे इसलिए हम पूरी आस्था के साथ हम अपने गुरु जी के आदेशों का पालन कर रहें हैं।
ये दहेजरहित शादी को देखकर आसपास के लोगों ने खूब सराहना करी और 17 लोंगो ने नामदीक्षा भी ली।
भारत सरकार ने एक नारा बनाया था, “बेटी पढ़ाओ बेटी बचाओ” लेकिन उसको साकार करना उसके बस की बात नहीं रही उसे साकार कर रहें हैं तो “संत रामपाल जी महाराज” जो जेल में होने के बावजूद भी भारत को नशामुक्त,दहेजमुक्त बनाने में अहम भूमिका निभाई है जिनके वचनों पर चलकर आज करीब कई करोड़ लोग बर्बाद होने से बचें हैं। संत रामपाल जी समाज सुधार में ही नहीं बल्कि आध्यात्मिकता के क्षेत्र में भी अलख जगा रहे हैं।