Naresh Kanodia Death News: नई दिल्ली, एक ऐसा वायरस जो हर रोज लाखों लोगों की जिंदगियां निगल रहा है, उसका नाम है कोविड-19 वही दूसरी ओर गुजराती फिल्मों के सुपरस्टार नरेश कनोडिया (Naresh Kanodia) का कोरोना की वजह से निधन हो गया है,वह 77 साल के थे। उनका कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद अहमदाबाद (Ahmedabad) के यूएन मेहता इंस्टीट्यूट (UN Mehta Institute) में इलाज चल रहा था। वहीं अगर बात करे फिल्म इंडस्ट्री की तो नरेश कनोडिया की मौत की वजह से पूरी इंडस्ट्री शोक में है।
Naresh Kanodia Death News के मुख्य बिंदु
- गुजराती फिल्मों के सुपरस्टार नरेश कनोडिया का करोना की वजह से निधन
- सुपरस्टार नरेश कनोडिया की मौत से फिल्म इंडस्ट्री शोक में
- पीएम नरेंद्र मोदी ने भी जताया दुख
- आखिर मानुष जीवन का उद्देश्य क्या है
- कहाँ है अमर स्थान सतलोक
- कैसे हासिल कर सकते हैं मोक्ष
- कौन है वो सच्चा संत
Naresh Kanodia Death News: गुजराती फिल्मों सुपरस्टार नरेश कनोडिया का कोरोना से निधन
जी हाँ आपने सही सुना गुजराती फिल्मों के जाने माने अभिनेता नरेश कनोडिया (Naresh Kanodia) का कोरोना की वजह से निधन हो गया है। उनकी आयु 77 साल की थी। बीते कुछ दिनों से कोरोना संक्रमण के बाद उनका अहमदाबाद (Ahmedabad) के यूएन मेहता इंस्टीट्यूट (UN Mehta Institute) में इलाज चल रहा था, जिसकी जानकारी हॉस्पिटल के ही एक अधिकारी ने दी। उनकी मौत से सिर्फ उनका परिवार ही नहीं फिल्म इंडस्ट्री भी सदमे में है।
नरेश कनोडिया की मौत से फिल्म इंडस्ट्री ने खोया एक और सितारा
गुजराती फिल्मों में अपनी अच्छी पहचान बनाने के कारण हर कोई उनसे उनके अभिनय का कायल था। उनकी इस तरह हुई मौत से उनके परिवार के साथ-साथ फिल्म इंडस्ट्री भी शोक में आ चुकी है। गुजराती सिनेमा के सुपरस्टार कनोडिया ने अपने करियर में कई दशकों में 100 से अधिक फिल्मों में काम किया था। बाद में वह राजनीति में शामिल हो गए और 2002 से 2007 के बीच भाजपा के विधायक चुने गए।
Naresh Kanodia Death News: पीएम नरेंद्र मोदी ने भी जताया दुख
यहाँ तक कि पीएम मोदी ने भी नरेश कनोडिया की मौत पर ट्वीट करके दुख प्रकट किया है। उन्होंने कहा वह अच्छे अभिनेता के साथ अच्छे राजनेता भी थे, जिन्होंने गरीबों और जरूरतमन्दों की हमेशा मदद की।
क्या आपको पता है मानुष जीवन का उदेश्य क्या है
जी हम बात कर रहे हैं मानव जीवन के उदेश्य की, क्या सिर्फ सांसारिक कामों के लिए ही मनुष्य को यह जन्म मिला है। अगर ऐसा है तो परिवार का पालन पोषण तो पशु पक्षी भी करते हैं। मनुष्य जीवन 84 लाख जन्म के बाद मिलता है। अब सोचने की बात यह है कि मानव जीवन क्या परिवार के पालन पोषण के लिए ही मिला है? तो अगर शास्त्रों की माने तो मनुष्य जन्म का उद्देश्य केवल धन कमाना नहीं होता, बल्कि मनुष्य जीवन में पूर्ण मोक्ष की प्राप्ति हो सकती है। पूर्ण मोक्ष भी तभी हो सकता है अगर सही विधि से सच्चे संत से नाम दीक्षा प्राप्त की जाए।
कबीर साहेब कहते हैं:-
मानुष जन्म दुर्लभ है, ये मिले ना बारंबार। जैसे तरुवर से पत्ता टूट गिरे, वो बहुर न लगता डार।।
कैसे जन्म- मरण से मुक्त हो सकते हैं?
अगर बात करें पूर्ण मोक्ष की तो शास्त्रो में लिखा है कि पूर्ण संत की खोज करके उससे मंत्र प्राप्त करके और उसकी बताई विधि से साधना करने से ही पूर्ण मोक्ष प्राप्त हो सकता है। हमारे धार्मिक ग्रंथों में यह भी प्रमाण है कि उसकी बताई साधना करने से व्यक्ति उस अमर स्थान पर चला जाता है यहाँ जाने के बाद जीव कभी जन्म मृत्यु में नहीं आता।
कैसा है सतलोक?
अब आप सोच रहे होंगे आखिर कैसा है सतलोक जहां जाने के बाद कभी जन्म-मृत्यु नहीं होती। अगर ग्रंथो की माने तो सतलोक में सूर्य और चंद्रमा नहीं है और ना ही वो लोक नाशवान है। वहाँ की मिट्टी बिल्कुल सफेद चमकदार है। वहाँ का जल और अन्य खान-पान की वस्तुएं कभी खराब नहीं होती। वहाँ फलों से लदे हुए पेड़ हैं, जिनका फल इतना मीठा है कि पृथ्वी लोक में तो उसका उदाहरण मिलना मुश्किल है। सतलोक में दूधों की नदियाँ हैं और वहाँ पहाड़ों पर हीरे मोती जड़े हुए हैं। वहाँ के वासियों के पास बड़े- बड़े घर और विमान हैं। सतलोक का प्रमाण ही आदरणीय गरीबदास जी की वाणी में है। उन्हे परमेश्वर कबीर जी जिंदा महात्मा के रूप में मिले थे और सतलोक लेकर गए थे। उन्होंने अपनी वाणी में कहा है:-
आदि रमैंणी अदली सारा। जा दिन होते धुंधुंकारा।
सतपुरुष कीन्हा प्रकाशा। हम होते तखत कबीर खवासा ।।
कौन है वह सच्चा संत जो जन्म – मृत्यु के रोग को काट सकता है
अब आप सोच रहे होंगे आखिर वो सच्चा संत कौन है जो सर्व बंधनों से मुक्त करवा सकता है। वो संत हर तरह के दुख दूर कर सकता है। उस सच्चे गुरु की बताई साधना से सभी को सर्व सुख होने लगते हैं, इसीलिए वह विश्वगुरु कहलाता है। वह संत अपने ज्ञान से सभी नकली गुरुओ को हरा देता है, वह संत कोई और नहीं विश्व विजेता संत जगतगुरु रामपाल जी महाराज हैं। जी हाँ उन्ही के बारे में नास्त्रेदमस, अमेरिका के श्री एण्डरसन, इंग्लैण्ड के ज्योतिषी ‘कीरो’, अमेरिका की महिला भविष्यवक्ता ‘‘जीन डिक्सन’’ आदि ने भी अपनी भविष्यवाणियों में कहा है कि वह संत पूरे विश्व में अपने ज्ञान से तहलका मचा देगा।
उस संत के बारे में लिखा है उसके ज्ञान और बताई भक्ति से विश्व मे शांति स्थापित होगी और उसका बताया ज्ञान पूरे विश्व में फैलेगा। सच्चे गुरु के बारे में श्री मद भगवत गीता के अध्याय नं 15 के श्लोक न. 1 से 4 तथा श्लोक न. 16 व 17 मे प्रमाण है। जो संत उल्टे लटके संसार रूपी वृक्ष के सभी हिस्सों को समझा देगा, वही पूर्ण संत है। इसी तरह पवित्र कुरान, पवित्र बाइबल, पवित्र गुरु ग्रंथ साहिब में भी पूर्ण गुरु की पहचान और पूर्ण परमात्मा की जानकारी है।। अधिक जानकारी के लिए आप सुनिए जगतगुरु तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज के मंगल प्रवचन। सर्व पवित्र धर्मों के, पवित्र शास्त्रों के आधार पर अवश्य देखिए [साधना टीवी] पर शाम 7:30 बजे, अधिक जानकारी के लिए Satlok Ashram Youtube चैनल देखे।