खेड़ी आसरा गांव: बीते समय भारत के उत्तरी भू भाग में बाढ़ आई और प्रशासन ने हाथ खड़े कर लिए। गाँववासी नाउम्मीदी से भर गए। ईश्वर से मिली बाढ़ और प्रशासन से मिला केवल आश्वासन। ऐसे में अन्नदाता का रुदन संत रामपाल जी महाराज जी से सुना नहीं गया। संत रामपाल जी महाराज ने पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, गुजरात, राजस्थान, जम्मू कश्मीर तक के सभी गाँवों में अन्नपूर्णा मुहिम के तहत करोड़ों की सामग्री पहुंचाई। उन्होंने सभी गाँवों में संदेश भेजा कि समान जितना चाहे के लें लेकिन अगली फसल की बुवाई समय से करें।
खेड़ी आसरा गांव ने की संत रामपाल जी महाराज जी से प्रार्थना
Haryana Flood Relief: हरियाणा खेड़ी आसरा गांव की पंचायत ने भी सब तरफ़ से नाउम्मीद होकर संत रामपाल जी महाराज को प्रार्थना भेजी। ग्राम पंचायत खेड़ी आसरा के सरपंच, पंच, नंबरदार, किसान और ग्रामीणों का दल स्वयं जाकर संत रामपाल जी महाराज के चरणों में प्रार्थना लेकर पहुंचा, जिसमें गांव ने 10,000 फुट 8 इंची पाइप और तीन मोटरों (दो 15 एचपी, एक 10 एचपी) की माँग की। संत रामपाल जी महाराज ने उनकी प्रार्थना जल्दी ही स्वीकार कर ली और सारे सामान के साथ अविलंब उनके अनुयायी गाँव खेड़ी आसरा पहुँचे।
बाढ़ राहत सामग्री पहुंची, किसानों ने किया ऐतिहासिक स्वागत
Haryana Flood Relief: हरियाणा के झज्जर जिले के खेड़ी आसरा गांव में उस समय इतिहास रच दिया गया जब बाढ़ से जूझ रहे किसानों ने राहत सामग्री लेकर पहुंचे संत रामपाल जी महाराज के सेवा काफिले का स्वागत ऐसे किया मानो भगवान स्वयं उनके गांव पधार आए हों। चार-चार फीट पानी से डूबे खेत, बर्बाद फसलें, टूटी उम्मीदें इन सबके बीच किसानों ने जब जाना कि संत रामपाल जी महाराज बाढ़ राहत सामग्री भेज रहे हैं, तो पूरे गांव में जैसे नई जान आ गई।
गांव ने 10,000 फुट 8 इंची पाइप और तीन मोटरों (दो 15 एचपी, एक 10 एचपी) की मांग की थी ताकि खेतों में भरे पानी को निकाला जा सके। संत रामपाल जी महाराज ने बिना देरी किए पूरी प्रार्थना स्वीकार की। जैसे ही उनकी आज्ञा मिली, राहत सामग्री तुरंत वाहनों में भरकर गांव के लिए रवाना कर दी गई।
ऐसा स्वागत पहले कभी नहीं देखा: ट्रैक्टरों की कतारें, ढोल-नगाड़े, फूलों की वर्षा
Haryana Flood Relief: जब बाढ़ राहत का काफिला गांव पहुंचा तो नजारा देखने लायक था। ट्रैक्टरों की लंबी कतारें, ढोल नगाड़े, बैंडबाजा, फूलों की वर्षा यह सब दर्शाता था कि गांव किस कदर खुश था। ऐसा लग रहा था मानो कोई त्योहार आया हो। किसानों का जोश इतना अधिक था कि वे गांव के बाहर स्वागत द्वार तक ट्रैक्टरों की परेड निकाल लाए।

ये दृश्य केवल राहत का नहीं बल्कि उस कृतज्ञता का था जो किसान अपने उद्धारक के प्रति महसूस कर रहे थे। गांव वालों ने कहा कि सरकार ने हमारी कोई सुध नहीं ली और जब कोई रास्ता नहीं बचा, तब संत रामपाल जी महाराज भगवान बनकर आए। गांववासियों के अनुसार ऐसा काम किसी ने ना अब किया ना आगे कोई करेगा। एक 87 वर्षीय बुजुर्ग किसान ने यह भी कहा कि हमारे पास शब्द ही नहीं हैं हम महाराज जी से कैसे बात करें क्या कहें। वे हमारे लिए भगवान हैं।
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किसानों ने साफ कहा कि उन्होंने अपने जीवन में ऐसा दृश्य कभी नहीं देखा। एक संत जो केवल भाषण नहीं देता बल्कि सीधे खेत-खलिहानों में उतरकर किसानों की जिंदगी बचाने का काम करता है।
300 से ज्यादा गांवों में राहत कार्य पूरा, सेवा जारी
Haryana Flood Relief: संत रामपाल जी महाराज के आदेशानुसार मुनिंद्र धर्मार्थ ट्रस्ट कुरुक्षेत्र द्वारा बाढ़ प्रभावित गांवों में निरंतर सेवा दी जा रही है। अब तक 300 से अधिक गांवों में पाइप, मोटर, चारा, खाद्य सामग्री और अन्य उपकरण उपलब्ध कराए जा चुके हैं। उनका संदेश साफ है “लोक दिखावा नहीं, वास्तविक सेवा करो।”
सेवादारों ने यह भी बताया कि सभी गांवों की ड्रोन से वीडियो रिकॉर्डिंग की जा रही है, एक वीडियो पानी भरे हुए समय की, एक पानी निकलने के बाद की और तीसरी फसल लहराने के समय की। इन वीडियो को संत रामपाल जी महाराज के समागमों में दिखाया जाएगा ताकि संगत को भरोसा रहे कि दिए गए दान का पूरा उपयोग मानव सेवा में हो रहा है और उनका विश्वास दृढ़ हो।
किसानों की भावनाएँ: “संत रामपाल जी महाराज भगवान से कम नहीं”
Haryana Flood Relief: गांव के बुजुर्गों से लेकर युवाओं तक सभी एक ही स्वर में कहते दिखाई दिए, जो दुख की घड़ी में साथ खड़ा रहे, वही भगवान होता है। किसानों ने कहा कि “किसान पूरे देश का पेट भरता है। जब वह डूब गया, तब केवल संत रामपाल जी महाराज ने हाथ बढ़ाया। सरकार नहीं पहुंची, नेता नहीं पहुंचे, पर यह संत मैदान में उतर आए। हमारे गांव का इतिहास स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा कि यहां एक संत आया जिसने गांव को जीवनदान दिया।”
जिस राहत सामग्री को लेकर सेवा दल गांव में पहुंचा, वह किसानों के लिए किसी संजीवनी से कम नहीं थी।
अभियान के प्रति ग्रामीणों की जिम्मेदारी भी सुनिश्चित
Haryana Flood Relief: संत रामपाल जी महाराज की ओर से विशेष निवेदन पत्र गांव को सौंपा गया, जिसमें साफ लिखा था कि यदि दी गई सामग्री से समय पर पानी की निकासी नहीं होती तो गलती गांव की मानी जाएगी। जरूरत होने पर सामान कितना भी ले सकते हैं। लेकिन गांव को अपने स्तर पर पूरी निष्ठा से इस राहत का उपयोग करना होगा। यदि वे अगली फसल की बुवाई करने में असफल रहते हैं तो भविष्य में कोई सामग्री उन्हें नहीं दी जाएगी। केवल सामग्री देना नहीं, बल्कि जिम्मेदारी के साथ सेवा का एक आदर्श मॉडल है।
संत रामपाल जी महाराज: समाज में कुरीतियों के विरुद्ध सबसे बड़ी आवाज
Haryana Flood Relief: संत रामपाल जी महाराज केवल आपदाओं में मदद नहीं करते, बल्कि समाज को भ्रष्टाचार, नशा, दहेज जैसी कुरीतियों से मुक्त करने का भी कार्य कर रहे हैं। उनके भक्त न दहेज लेते हैं, न देते हैं। संत रामपाल की महेज जी ने अन्नपूर्णा मुहिम के तहत गरीबों के इलाज, बच्चों की पढ़ाई और घर बनाने में सहायता की है। अन्नपूर्णा मुहिम के तहत हजारों परिवारों को राहत और घर मिल चुकी है। जो प्रशासन कभी नहीं कर सका वो संत रामपाल जी महाराज जी ने कर दिखाया है। ऐसी मुहिम बिना परमात्मा के आदेश के नहीं चल सकती। संत रामपाल जी महाराज जी ने करोड़ों रुपए समाज कल्याण में दान किया हैं, बिना यह भेदभाव किए हुए कि लाभार्थी उनका अनुयायी है या नहीं। यह केवल परमात्मा कर सकते हैं।
खेड़ी आसरा गांव का धन्यवाद और संकल्प
गांव के प्रधान, पंच, ग्रामीण, किसान सभी ने हाथ जोड़कर संत रामपाल जी महाराज के प्रति आभार व्यक्त किया। गांव ने आश्वासन दिया कि वह राहत सामग्री का पूरा उपयोग करेगा और भविष्य में हर सेवा कार्य में सहयोग देगा। सभी किसानों ने खुले शब्दों में स्वीकार किया कि “हमारे लिए भगवान उतरकर आए हैं, संत रामपाल जी महाराज।”
संत रामपाल जी महाराज समाजहित में अपना जीवन अर्पित करने वाले
संत रामपाल जी महाराज केवल एक संत नहीं, बल्कि उन लाखों लोगों के लिए आशा की किरण हैं जिन्हें जीवन में संकट, गरीबी, बीमारी और सामाजिक कुरीतियों ने घेर रखा था। उन्होंने समाजहित में अपना पूरा जीवन समर्पित कर दिया। चाहे बाढ़ राहत अभियान हो, अन्नपूर्णा मुहिम के तहत ज़रूरतमंदों को घर बनाकर देना हो, महिलाओं को समान अधिकार देना हो, नशा-मुक्त समाज बनाना हो या सत्य-भक्ति का वास्तविक मार्ग बताना हो। उनके मार्गदर्शन ने हजारों परिवारों का जीवन बदल दिया। हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और कई राज्यों के लोग उन्हें भगवान का स्वरूप मानते हैं। अपने तन-मन-धन से समाज को संभालना, और मानवता के लिए हर कठिनाई में आगे खड़े होकर सेवा करना यह किसी साधारण संत का काम नहीं है। संत रामपाल जी महराज स्वयं परमात्मा कविर्देव के अवतार हैं।



